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दालचीनी क्या होती है? दालचीनी खाने के क्या-क्या फायदे तथा नुकसान है? What is cinnamon? What are the advantages and disadvantages of eating cinnamon in hindi?

भारतीय सभ्यता शुरू से ही आयुर्वेद से भली भांति परिचित है। हमारे आसपास के यह सी चीजें होती हैं जो बहुत ज्यादा लाभदायक होती है लेकिन हमारे ज्ञान के अभाव के कारण हम उसके फायदे का लाभ नहीं उठा पाते। आज हम एक ऐसी ही चीज के बारे में बात करेंगे जो के हैं दालचीनी इसे अंग्रेजी में cinnamon कहते हैं। 
दालचीनी का नाम आप सभी ने सुना ही होगा क्योंकि एक प्रमुख मसाला है जो हर भारतीय के घर में उपलब्ध होता है इसीलिए दालचीनी को मसालों की रानी भी कहते हैं। दालचीनी का प्रयोग में केवल खाने का स्वाद बनाने में किया जाता है बल्कि इसके के औषधिय फायदे भी है। दालचीनी का उपयोग आयुर्वेदिक तथा एलोपैथिक दवाओं में प्रमुख रूप से किया जाता है।
दालचीनी के बारे में थोड़ा बहुत तो हम सभी जानते हैं लेकिन अधिकांश लोग इसके बारे में यह नहीं जानते कि से क्या-क्या फायदे होते हैं इनमें कौन से महत्वपूर्ण पोषक तत्व उपस्थित होते हैं यह कितने प्रकार की होती है। इसीलिए आज हम आपके सामने दालचीनी से जुड़ी हुई पूरी जानकारी विस्तार में उपलब्ध करवाएंगे।

Table of Contents

दालचीनी क्या होती है? What is cinnamon in hindi?

दालचीनी एक प्रकार का मसाला है जिस का वैज्ञानिक नाम सीनेमोमम वेरुम होता है। दालचीनी के पेड़ को सिनामोन ट्री के नाम से जाना जाता है।सिनामोन ट्री की छाल को निकाल कर उसे सुखाया जाता है जब छाल सूख जाती हैं तो वह गोलाकार बन जाती है जिसे हम दालचीनी कहते हैं।
दालचीनी क्या होती है? What is cinnamon in hindi?
दालचीनी क्या होती है? What is cinnamon in hindi?

दालचीनी का प्रयोग हम अक्सर तरह-तरह के पकवानों में मसाले के रूप में करते हैं जिससे उन पकवानों का जायका बहुत बढ़ जाता है। क्योंकि दालचीनी में antioxidant तत्वों के साथ  विटामिन और प्रोटीन अन्य खनिज तत्व विद्यमान होते हैं जो हमारी सेहत तथा त्वचा के लिए फायदेमंद होते हैं यही कारण है कि दालचीनी का प्रयोग कई बीमारियों को ठीक करने मैं भी किया जाने लगा है।

दालचीनी के पेड़ की पहचान? Identification of cinnamon tree in hindi ?

पर हम दालचीनी के पेड़ की बात करें तो यह कहीं भी लगाया जा सकता है लेकिन यह पेड़ अधिकतर उष्णकटिबंधीय क्षेत्रों में ही देखा गया। यदि हम इन पेड़ों की लंबाई की बात करें तो इनकी लंबाई 10 मीटर से 15 मीटर तक होती है इन पेड़ों की छाल पतली होती है और दिखने में भूरे और लाल रंग की होती है। 
दालचीनी के पेड़ पर लगने वाले फलों से तारपीन के तेल जैसी गंध महसूस होती हैं एवं दालचीनी की पतियों से तीखी गंध महसूस होती है। स्पीड पर लगने वाले फूलों का रंग सफेद या हरा होता है इस पेड़ की पत्तियों की खास बात यह भी है की दालचीनी की पत्तियों का प्रयोग मच्छर भगाने वाले उत्पादों का निर्माण करने में किया जाता है।

दालचीनी कितने प्रकार की होती है? What type of cinnamon is there? 

मुख्य रूप से दालचीनी के चार प्रकार होते हैं तो आइए हम इसके चारों प्रकारों के बारे में समस्त जानकारी हासिल करते है।

इंडोनेशियन दालचीनी

इंडोनेशिया में दालचीनी का वैज्ञानिक नाम burmani है। इंडोनेशियन दालचीनी का लगभग 70% उत्पादन इंडोनेशिया में होता है तथा इंडोनेशिया से पूरे विश्व में भेजा जाता है यही कारण है कि इसे इंडोनेशियन दालचीनी कहते हैं। हमारे भारत में इसका प्रयोग अन्य की तुलना में थोड़ा कम किया जाता है। इस दालचीनी की छाल मोटी व सुगंधित होती है।

सीलोन दालचीनी

इस दालचीनी को मैक्सिकन दालचीनी की भी कहते हैं जिस का वैज्ञानिक नाम zeylanicum है। सीलोन दालचीनी के पेड़ की छाल पतली होती है एवं सिलोन दालचीनी में कुमेरिन मात्रा सर्वाधिक पाई जाती है यही कारण है कि सिलोन दालचीनी का उपयोग सर्वाधिक मात्रा में किया जाता है सिलोन दालचीनी का उपयोग ज्यादा होता है इसी कारण यह है महंगी मिलती है।

कैसिया दालचीनी

केशिया दालचीनी को चाइनीस की दालचीनी भी कहते है जिसका वैज्ञानिक नाम एरोमेटिकम है। केशिया दालचीनी स्वाद में थोड़ी तीखी वह हल्की कड़वी होती है इसीलिए इसका ज्यादातर उपयोग दवाई बनाने में किया जाता है।

साइगॉन दालचीनी

इस दालचीनी को वियतनामी केशिया भी कहते हैं जिसका वैज्ञानिक नाम Loureiroi है। यह दालचीनी अन्य दालचीनी की उपेक्षा अधिक सुगंधित होती है इसी कारण इसका उपयोग आजकल अधिक होने लगा है। इस दालचीनी में कुमेरिन की मात्रा सबसे ज्यादा उपस्थित होती है यदि मनुष्य कुमेरीन ज्यादा सेवन करता है तो उसके लिवर में खराबी हो सकती हैं। इसीलिए इस दालचीनी का सेवन अधिक मात्रा में नहीं करना चाहिए।

दालचीनी का उत्पादन सबसे पहले कहां पर हुआ?

हमें प्राचीन ग्रंथों से मालूम होता है कि भारत में दालचीनी का प्रयोग सदियों से किया जा जाता आ रहा है लेकिन यदि हम बात करें कि दालचीनी का उत्पादन सबसे पहले कहां किया गया तो इस बात को लेकर इतिहासकारों के भी मत अलग-अलग हैं इसीलिए हम दालचीनीका उत्पादन सबसे पहले कहां किया गया इसके बारे में कुछ फस प्रकाश से कह नहीं सकते है। दालचीनी को लगभग 2020 अपूर्व चीन के द्वारा मिश्र को निर्यात किया जाता था इसी कारण कुछ इतिहासकार मानते हैं कि दालचीनी का उत्पादन सर्वप्रथम चीन में हुआ लेकिन अन्य कुछ शोधकर्ता कमाना है की यह तथ्य गलत है जबकि दालचीनी की खोज एक पुर्तगाली ने सर्वप्रथम श्रीलंका में की थी।
अगर हम वर्तमान समय की बात करें तो दालचीनी के उत्पादन वियतनाम,श्रीलंका, इंडोनेशिया और चीन के साथ साथ भारत में भी होने लगा है। दालचीनी भारत में मुख्य थे तमिलनाडु, केरल आदि राज्यों में उत्पादित की जाती है।

दालचीनी में कौन-कौन से पोषक तत्व पाए जाते हैं? What nutrients are found in cinnamon in hindi ?

दालचीनी में बहुत से पोषक तत्व पाए जाते हैं जो निम्न प्रकार है
दालचीनी में कौन-कौन से पोषक तत्व पाए जाते हैं? What nutrients are found in cinnamon in hindi ?
दालचीनी में कौन-कौन से पोषक तत्व पाए जाते हैं?

दालचीनी खाने के क्या-क्या फायदे हैं?What are the benefits of eating cinnamon in hindi?

आमतौर पर सभी लोग दालचीनी को मसालों की तरह प्रयोग में लेते हैं परंतु वे सभी लोग इस के स्वास्थ्य के लिए होने वाले फायदों से अनजान थे इसीलिए चले आज हम आपको इसके फायदों से रूबरू करवाएंगे और आपको बताएंगे कि दालचीनी खाने से आपको क्या-क्या फायदे देखने को मिल सकते हैं आप भी जान के आश्रित गीत होंगे कि आप जैसे आज तक बस मसालों के लिए प्रयोग में ले रहे हैं उसके इतने अच्छे अच्छे फायदे हो सकते हैं तो आइए जानते हैं, 

हृदय को स्वस्थ रखती है दालचीनी

आपको जान की जरूरत ऋषिकेश होगा कि हम जिसे हमेशा से मसालों की तरह प्रयोग में करते आ रहे हैं वह हमारे हृदय के लिए इतनी लाभकारी साबित होगी क्योंकि जब हमारे शरीर में कैल्शियम की मात्रा बढ़ जाती है तो वह हमारे हृदय के लिए बहुत ही घातक साबित होता है इसलिए हमें हमारे शरीर में कोलेस्ट्रॉल की मात्रा को नियंत्रित में रखना बेहद जरूरी हो जाता है और दालचीनी में पाए जाते हैं कुछ ऐसे तत्व जो कि हमारे शरीर में कोलेस्ट्रॉल की मात्रा को कम कर देते हैं, 

और यदि हम दालचीनी में से मिलाकर उसका सेवन करते हैं तो हमारे हृदय में होने वाली समस्याओं से आसानी से निजात पा सकते हैं और दालचीनी हमारे शरीर की के केलोस्ट्रोल को कम करके हमारे हृदय को और भी स्वस्थ बनाती है इसलिए हमें इसका प्रयोग अवश्य ही करना चाहिए । 


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सूजन को कम करने में भी प्रयोग की जाती है दालचीनी

अक्सर जब भी हम हमारे खान-पान पर ज्यादा ध्यान नहीं देते हैं उसके चलते हमें हमारे शरीर के अंगों में सूजन देखने को मिलती है जैसे कि ज्यादा खट्टा खा लेने पर ऐसा हो सकता है ऐसे में हम गर्म पानी तथा कुछ दवाइयों का सहारा लेते हैं पर तो आपको बता दें कि आप दालचीनी का सहारा भी ले सकते हैं इससे छुटकारा पाने के लिए दालचीनी में कुछ ऐसे तत्व होते हैं और कुछ ऐसे गुण होते हैं जिससे वह हमारे शरीर मैं होने वाली सूजन को कम कर देता है दालचीनी में एंटी इनफॉर्मेटरी गुण पाए जाते हैं जो की सूजन कम करने में बहुत ही ज्यादा कारगर साबित होता है। 

खून में शुगर की मात्रा को कम करती है दालचीनी

अक्सर ऐसा देखा जाता है कि शरीर में शुगर की मात्रा बढ़ने के कारण बहुत से लोगों को डायबिटीज हो जाती है और कुछ अन्य रोगों का सामना करना पड़ सकता है इसलिए यदि आप भी इनसे निजात पाना चाहते हैं तो आप दालचीनी का प्रयोग कर सकते हैं क्योंकि दालचीनी में कुछ ऐसे पोषक तत्व पाए जाते हैं जैसे कि पॉलीफेनॉलओस और सिरम जो कि हमारे शरीर में शुगर की मात्रा को नियंत्रित करने के लिए बहुत ही लाभकारी साबित होते हैं। इसमें एंटी डायबिटीज गुण भी पाए जाते हैं जिससे हमारे शरीर में शुगर की मात्रा को नियंत्रित किया जा सकता है इसलिए डायबिटीज को दूर करने के लिए इसका प्रयोग किया जा सकता है। 

रोक देती है बैक्टीरिया के संक्रमण को दालचीनी

दालचीनी एक ऐसी स्थिति मसाला है जो ने हमें स्वस्थ रखने के लिए लाभदायक है बल्कि यह हमें बैक्टीरिया से भी बचाए रखता है क्योंकि दालचीनी के अंदर कुछ ऐसे पोषक तत्व पाए जाते हैं जो कि हमें बकरियों से संक्रमित होने से बचाए रखता है इसमें कुछ ऐसे गुण भी होते हैं जैसे कि एंटीबायोटिक एंटीवायरस छोटे जीवों से बचाने के कुछ और गुण भी इनमें पाए जाते हैं जो कि हमें संक्रमित होने से बचाते हैं इसमें पाई जाने वाली है सभी तत्व यदि हमारे शरीर में मौजूद होते हैं तो यह हमारे शरीर में पाए जाने वाले बैक्टीरिया को खत्म कर देते हैं और हमें संक्रमित होने से बचाए रखता है। 

चर्बी को कम कर देती है दालचीनी

आज के इस युग में बहुत से लोग मोटापे से परेशान हैं उन्हें बहुत ज्यादा चर्बी की समस्या देखने को मिलती है तो आप चर्बी को कम कर सकते हैं दालचीनी के उपयोग से आपको बता दें कि दालचीनी के अंदर फाइबर की मात्रा पाई जाती है और इसके अंदर विटामिन सी की मात्रा यह होती है जो कि अक्सर मोटापे को कम करने के लिए प्रयोग में लिए जाते हैं। 

रोजाना सुबह इसे सेहत के साथ एक चम्मच खाने पर आपको अतिरिक्त चर्बी जैसी समस्याओं से छुटकारा मिल जाएगा। 

हमें कैंसर नहीं होने देती है दालचीनी

दालचीनी अमृत रखती है सुरक्षित कैंसर जैसी जानलेवा बीमारी से क्योंकि दालचीनी में कुछ ऐसे पोषक तत्व पाए जाते हैं जो कि कैंसर की जड़ों को फैलने से रोक लेते हैं अर्थात यह आपके शरीर में कैंसर की कोशिकाओं को फैलने से रोकता है वैज्ञानिकों की मानें तो दालचीनी में एंटी कैंसर एंटीऑक्सीडेंट गुण पाए जाते हैं जो कि काफी हद तक कैंसर और ट्यूमर जैसी बीमारियों को कम कर देता है और अपनी एक बहुत ही सहायक भूमिका निभाता है। 

दालचीनी देता है जोड़ों के दर्द से छुटकारा

दालचीनी में कुछ ऐसे पोषक तत्व पाए जाते हैं और ऐसे गुण पाए जाते हैं जो कि आपको दिला सकते हैं आपकी जोड़ों के दर्द से छुटकारा जोड़ों का दर्द अक्षर के ही लोगों में देखा जाता है और आज अधिकतर सभी लोग इन दर्द का सामना करते रहता है दालचीनी में पाए जाने वाले कैलशियम मैग्निशियम जैसे पोषक तत्व के जरिए यह हमारी जोड़ों के दर्द को कम करने में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है प्रतिदिन दालचीनी को सुबह दूध के साथ एक चम्मच लेने पर आपको जोड़ से होने वाला दर्द खत्म होता चला जाएगा और ऐसा करने से पहले डॉक्टर की सलाह अवश्य लेनी चाहिए। 

सांस से संबंधित रोगों को मिटाता है

दालचीनी हमेशा से संबंधित रोगों से बचाता है बहुत बार ऐसा होता है कि बेटे रिया हमारे शरीर में फेफड़ों में चला जाता है और उसके वजह से शोषण नली में सूजन आ जाती है और हमें सांस लेने में दिक्कत होने लगती है तब दालचीनी में पाए जाने वाले एंटीबैक्टीरियल गुण हमें इससे छुटकारा मिलाने में सहायक रहते हैं क्योंकि वह है हमारे फेफड़ों को बैक्टीरिया से बचाए रखते हैं। 

और यह हमें अस्तमा से भी बचाता है क्योंकि सांसों से संबंधित रोगों के चलते ही कई बार ऐसा देखा जाता है कि लोग अस्थमा से प्रभावित हो जाते हैं तो आप यदि दालचीनी का सेवन करते हैं तो आपको अस्थमा होने की संभावनाएं कम हो जाती है। 

दालचीनी रखती है आपकी त्वचा का ख्याल 

दालचीनी का उपयोग कक्षा का ख्याल रखने के लिए किया जाता है और इसका उपयोग त्वचा के लिए बनाई गई व सूचियों में भी किया जाता है इसमें कुछ ऐसे तत्व पाए जाते हैं जो कि हमारी त्वचा पर होने वाली समस्याओं से हमें छुटकारा दिलाता है जैसे पिंपल्स मसूदा इन सब से हमें छुटकारा दिलाते हैं और इनका उपयोग और आयुर्वैदिक दवाई बनाने में अधिक किया जाता है

दालचीनी को पीसकर शहद और नींबू के साथ अपने चेहरे पर लगाया जाता है तो चेहरे पर होने वाली समस्याओं से छुटकारा मिलने की संभावनाएं बढ़ जाती है इस प्रकार हमारी त्वचा का ख्याल रखता है। 

दालचीनी बनाता है हमारे पाचन तंत्र को स्वस्थ

दालचीनी के प्रयोग से हमारे पाचन प्रक्रिया और भी ज्यादा स्वस्थ हो जाती हैं क्योंकि इसके अंदर एंटी बैक्टीरिया गुण पाए जाते हैं जो कि उन व्यक्तियों को खत्म करने में कारगर साबित होते हैं जो हमारे पाचन तंत्र को कमजोर बनाते हैं दालचीनी में पाए जाने वाली कौन-कौन बकरियां का खात्मा करके हमारी पाचन तंत्र को और भी अधिक शक्तिशाली और तंदुरुस्त बनाते हैं इससे हमें बहुत सारा लाभ देखने को मिलता है हमारे स्वास्थ्य को लेकर इससे हमारे पाचन तंत्र को मजबूती मिलती है। 

ध्यान दें दालचीनी इन सभी बीमारियों का एक प्रयुक्त इलाज नहीं है दालचीनी इन बीमारियों में प्रभाव डालती है परंतु यदि आपको इनमें से कोई भी समस्या हो तो आपको डॉक्टर की सलाह लेनी चाहिए और उसे ही मानना चाहिए। 

दालचीनी के अन्य फायदे


ऊपर हमें दालचीनी के बहुत सारे फायदे के बारे में बात की है परंतु इसके अलावा और भी इसके और बहुत अच्छे-अच्छे फायदे हैं आइए के बारे में भी जान लेता है

  1. खाद्य सामग्रियों को पूर्वी स्वादिष्ट बनाने के लिए दालचीनी का उपयोग किया जाता है। 
  2. बहुत से लोग ऐसे होते हैं जिनके मुंह से बदबू आती रहती है वह दालचीनी का उपयोग करके अपने मुंह से आने वाली बदबू को दूर कर सकता है इसके लिए उन्हें गर्म पानी में एक चुटकी दालचीनी मिलाकर और कुल्ला करके अपने मुंह की बदबू को दूर कर सकते हैं। 
  3. जुखाम में दालचीनी के सेवन से आपको काफी आराम मिलता है। 
  4. दालचीनी दातों में होने वाले दर्द से आपको आराम दिलाता है। 
  5. दालचीनी के सेवन से आपके बाल काले लंबे और चमकीले हो सकता है। 

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यह दालचीनी के कुछ अन्य उपयोग करें आप इन सभी समस्याओं में दालचीनी का उपयोग कर सकते हैं परंतु आपको डॉक्टर की सलाह से लेनी चाहिए

दालचीनी का उपयोग कैसे करें

दालचीनी में बहुत सारे पोषक तत्व होते हैं और इसके बहुत सारे गुण भी होते हैं जिनके कारण इसका उपयोग अलग-अलग तरीकों से किया जा सकता है इसका उपयोग हम दूध के साथ कर सकते हैं पानी के साथ कर सकते हैं और इसका उपयोग है शहद के साथ कर सकते हैं और पिक बहुत सारे ऐसे तरीके हैं जिनके साथ इनका उपयोग कर सकते हैं और इस जहां में बहुत ज्यादा फायदा देखने को मिलता है। 


दालचीनी खाने के क्या-क्या फायदे तथा नुकसान है?
दालचीनी खाने के क्या-क्या फायदे तथा नुकसान है?


दालचीनी का प्रयोग कब और कितनी मात्रा में करें

दालचीनी डॉक्टर द्वारा दी गई कोई टेबलेट नहीं है जिसे खाने के लिए हमें यह सोचना पड़े की खाने से पहले ले या खाने के बाद दालचीनी तो एक प्रकार की घरेलू औषधि है जिसका उपयोग हम अपने खाने की चीजों के साथ हमारी आवश्यकता अनुसार कर सकते हैं। इसका उपयोग हम सुबह चाय में दोपहर के खाने में या शाम को सूप बनाकर कर सकते हैं। अगर हम दालचीनी का प्रयोग दूध के साथ करना है उचित समझते हैं तो रात के समय करना चाहिए जिससे नींद अच्छी आती है।

दालचीनी खाने के क्या-क्या नुकसान है? What are the disadvantages of eating cinnamon in hindi?

किसी भी चीज के फायदे होते हैं तो उसके कुछ नुकसान भी हो सकते हैं जिसके बारे में जानकारी होना आवश्यक हो जाता है क्योंकि दालचीनी में भी हमें बहुत से फायदे देखने को मिलते हैं लेकिन उन फायदों के साथ कुछ नुकसान भी हो सकते हैं तो चलो हम आपको होने सकने वाले नुकसान से अवगत कराते हैं।
  1. गर्भवती महिला को दालचीनी का उपयोग नहीं करना चाहिए क्योंकि यह बहुत गर्म करती है जिससे उनका गरम खराब हो सकता है
  2. यदि आपको भी एसिडिटी की समस्या रहती है तो आपको भी दालचीनी का सेवन नही करना चाहिए
  3. दालचीनी का सेवन अधिक मात्रा में नहीं करना चाहिए क्योंकि इससे लीवर खराब होने की संभावना हो सकती है।
  4. दालचीनी गर्म होती हैं जिसके कारण इसका अधिक सेवन करने से अनेक प्रकार की एलर्जी का सामना करना पड़ सकता है
  5. यदि आप खून पतला करने की दवाइयां ले रहे हैं तो आपको फोन को और पतला करने के लिए दालचीनी का उपयोग नहीं करना चाहिए आपके खून को उस मात्रा में पता नहीं कर पाते हैं।

सारांश

आज के इस आर्टिकल में हमने जाना कि दालचीनी क्या है दालचीनी कितने प्रकार की होती है और इसके क्या क्या उपयोग है दालचीनी में कौन-कौन से पोषक तत्व पाए जाते हैं और दालचीनी खाने के क्या-क्या फायदे हैं तथा दालचीनी खाने के क्या-क्या नुकसान है इसके बारे में हमने आज विस्तार में जाना आशा करते हैं आपको हमारे द्वारा दी गई जानकारी अच्छी लगी होगी यदि आपको हमारे द्वारा दी गई जानकारी पसंद आई है तो इसे अपने दोस्तों में अवश्य शेयर करें।
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